कहते हैं आंकड़े लखनऊ। कोरोना भले ही बुजुर्गों एवं बच्चों में ज्यादा होता है, पर का कहना है कि युवा खुद पर की जान ज्यादा ले रहा हो, लेकिन राजधानी में सामने आने वाले केस कोरोना बेअसर होने की भूल न युवा भी इसकी गिरफ्त में हैं। राज में ज्यादातर युवा हैं। यहां करीब 42 करें। वे भी लॉकडाउन का पूरी पानी के आंकड़े तो यही हकीकत वर्षी या बॉलीवुड गायिका तरह से पालन करें और घर में बयां कर रहे हैं। यहां मिले नौ एसजीपीजीआई और 73 साल की रहें। पहली मौत भी युवा की यूपी पॉजीटिव केसों में आठ की उम्र 20 वृद्धा कमांड हॉस्पिटल में भर्ती है। में कोरोना की चपेट में आने से से 42 वर्ष के बीच है। इससे स्पष्ट आठ मरीज केजीएमयू में हैं। इसमें पहली मौत भी युवा की हई है। काक कारना हर उम्रक लागा का एक लखीमपुर खीरी का है। इन बस्ती निवासी जिस यवक की मौत चपेट में ले रहा है। सभी को विशेष सभी की उम्र 20 से 42 साल के गोरखपुर अस्पताल में हुई, उसकी सावधानी बरतने की जरूरत है। बीच है। आठों में छह की उम्र 35 उम्र करीब 25 साल थी। मिथक है कि कोरोना का असर वृद्धों साल से कम है।
लापरवाही न बरतें, युवाओं को भी गिरफ्त में ले रहा कोरोना वायरस, ये कहते हैं आंकड़े